प्रकाशित: 01-06-2023: 06:49

फायदा:

  1.     विविधता
  2.     व्यावसायिक प्रबंधन
  3.     पैमाने की अर्थव्यवस्थाएं (ईकानमी ऑफ स्केल)
  4.     तरलता (लिक्विडिटी)
  5.     विभिन्न प्रकार के निवेश विकल्प
  6.     स्वत: पुनर्निवेश

नुकसान:

  1.     शुल्क और व्यय
  2.     रिटर्न की कोई गारंटी नहीं
  3.     सीमित नियंत्रण
  4.     अंडरपरफॉर्मेंस की संभावना
  5.     कर (टैक्स)

 

म्यूचुअल फंड निवेशकों को कई फायदे और नुकसान प्रदान करते हैं। यहाँ कुछ मुख्य बिंदुओं के बारे मे बताया गया है:


म्यूचुअल फंड के फायदे:

    विविधीकरण: म्यूचुअल फंड विभिन्न प्रकार के प्रतिभुतियो में निवेश करता हैं, जिससे जोखिम बहुत  सारी मे फैल जाती है। जिससे किसी भी एकल निवेश द्वारा खराब प्रदर्शन के प्रभाव कम हो जाता है।
    पेशेवर प्रबंधन: म्यूचुअल फंड का प्रबंधन अनुभवी फंड मैनेजरों द्वारा किया जाता है जो निवेशकों की ओर से निवेश निर्णय लेते हैं,  जिससे  व्यक्तिगत निवेशकों के समय और प्रयास की बचत होती हैं। फंड मैनेजरों निवेश विशेषज्ञ होते हैं । 
    ईकानमी ऑफ स्केल: म्यूचुअल फंड कई निवेशकों के निवेश को पूल करते हैं; जिससे निवेश की राशि एक व्यक्तिगत निवेश की तुलना मे बहुत ज्यादा होता है, इससे बहुत सारी लागत कम करने मे सहायता मिलती; जिससे ईकानमी ऑफ स्केल प्राप्त होता है। 
    तरलता: निवेशक म्यूचुअल फंड को आसानी से किसी भी व्यावसायिक दिन पर खरीद या बेंच सकते हैं, जिससे निवेशकों आसानी से अपने पैसे निकाल सकते है। 
    विभिन्न प्रकार के निवेश विकल्प: म्यूचुअल फंड कई अलग-अलग प्रकारों में आते हैं, जिससे निवेशकों को अपने जोखिम सहिष्णुता, निवेश के उद्देश्यों और वरीयताओं के हिसाब से निवेश करने का अवसर मिलता है।
    स्वत:पुनर्निवेश: लाभांश और पूंजीगत लाभ म्यूचुअल फंड में स्वत:पुनर्निवेश हो जाता है, जो पुनर्निवेश के जोखिम से बचाता है और निवेश की कंपाउंडिंग मे सहायता प्रदान करता है। 

 


म्यूचुअल फंड का नुकसान

    शुल्क और व्यय: म्यूचुअल फंड प्रबंधन शुल्क और अन्य खर्चों को लेते हैं, जो समय के साथ रिटर्न को कम कर सकते है। कुछ फंडों में बिक्री शुल्क भी होता है। बिक्री शुल्क अलग-अलग फंड के लिए अलग-अलग होता है 
    रिटर्न की कोई गारंटी नहीं: किसी भी निवेश की तरह, म्यूचुअल फंड मे भी जोखिमों होता है। रिटर्न की कोई गारंटी नहीं होती है, और निवेश का मूल्य नीचे - ऊपर होता रहता है।
    सीमित नियंत्रण: म्यूचुअल फंड में निवेशकों का फंड के द्वारा किए गए निवेशों पर सीमित नियंत्रण है। उन्हें फंड मैनेजर के फैसलों पर भरोसा करना पड़ता है, जो हमेशा निवेशक की प्राथमिकताओं के अनुसार नहीं हो सकते है .
    अंडरपरफॉर्मेंस की संभावना: म्यूचुअल फंड बाजार या उनके बेंचमार्क इंडेक्स कम रिटर्न दे सकते है। जिसका कई कारण हो सकते है जैसे की फंड मैनेजर का खराब निवेश निर्णय, फंड का  बहुत ज्यादा प्रबंधन शुल्क और बाजार की अस्थिरता। 
    कर (टैक्स): निवेशकों को फंड द्वारा अर्जित पूंजीगत लाभ या लाभांश के कारण कर देनदारियों का सामना करना पड़ सकता है, भले ही उन्होंने अपने शेयरों को नहीं बेचा हो।